रांची :झारखंड के मंत्रीआलमगीर आलम ईडी ने गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश करने के बाद 6 दिन डिमांड मिला ,उनकी कई काली करतूत हुआ खुलासा स्पीकर रहते विधानसभा में अवैध नियुक्तियों का खेल हुआ. वह तीन वर्षों तक स्पीकर रहे और अलग-अलग पदों पर 324 नियुक्तियां हुई. सारे के सारे पद नेताओं के सगे-संबंधि और पैरवी पुत्रों को बांट दी गयी थी. नियम-कानून को ताक में रखकर स्पीकर ने नियुक्ति की अनुशंसा की थी. 150 सहायक के पद सीधे नेताओं की पैरवी पर दी गयी. इसका खुलासा एक सदस्यीय विक्रमादित्य आयोग ने किया. वही जमशेदपुर पूर्व विधायक सरयू राय सोशल मीडिया पर ट्वीट उन्होंने कहा कि संसद/विधानसभा लोकतंत्र की आत्मा है.इनमें हुए घोटाले पर पर्दा पड़ जाए तो शासन में भ्रष्टाचार पर नियंत्रण असंभव है. 2007 में मैंने “झारखंड विधानसभा नियुक्ति घोटाला” सप्रमाण उजागर किया था. उच्च/सर्वोच्च न्यायालय के रिटायर जजों के प्रतिवेदनों की भूल-भुल्लैया में मामला झूल रहा है…
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