रांची :झारखंड में हाल के दिनों में महिलाओं और नाबालिग बच्चियों पर अत्याचार की घटनाएं तेजी से बढ़ी हैं, जो प्रदेश की कानून-व्यवस्था और प्रशासनिक ढांचे पर गंभीर सवाल खड़े करती हैं। भाजपा प्रदेश प्रवक्ता राफिया नाज़ ने कहा कि एक ओर सरकार महिला सशक्तिकरण की बात करती है, वहीं दूसरी ओर राज्य की बहन-बेटियाँ भय, हिंसा और शोषण के माहौल में जीने को मजबूर हैं।
उन्होंने कहा कि झारखंड की ज़मीन इस वक्त चीख रही है और महिलाओं व बेटियों के खून और आंसुओं से भीग चुकी है, पर सरकार को कोई फर्क नहीं पड़ता। उन्होंने सरकार की कार्यशैली को जनविरोधी, असंवेदनशील और महिला विरोधी करार देते हुए तीखी आलोचना की।
राफिया नाज़ ने कहा कि हजारीबाग के बरही गांव में डायन प्रथा के नाम पर एक महिला को निर्वस्त्र कर, बर्बरतापूर्वक पीटा गया, शरीर को ब्लेड से काटा गया, उसके बाल काटे गए और उसे भीड़ के सामने अपमानित किया गया। उन्होंने कहा कि यह घटना इस बात का प्रमाण है कि झारखंड सरकार न तो डायन प्रथा उन्मूलन कानून को लागू करने में सक्षम है, और न ही समाज में अंधविश्वास के खिलाफ कोई जागरूकता फैलाई जा रही है।
उन्होंने जोर देकर कहा, “कानून होने के बावजूद अगर ऐसी अमानवीय घटनाएं हो रही हैं, तो यह सरकार की गंभीर प्रशासनिक असफलता है।”
कोलेबिरा की दूसरी घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए राफिया नाज़ ने कहा कि एक 13 वर्षीय नाबालिग बच्ची को अगवा कर दुष्कर्म किया गया और उसका अश्लील वीडियो बनाकर उसे धमकाया गया। उन्होंने कहा कि यह केवल एक अपराध नहीं, बल्कि एक नाबालिग की मानसिक और शारीरिक हत्या के बराबर है। उन्होंने कहा कि राज्य में डिजिटल अपराधों और महिला सुरक्षा के प्रति सरकार के पास कोई ठोस नीति नहीं है।
उन्होंने कहा, “इस घिनौने अपराध पर सरकार की चुप्पी दुर्भाग्यपूर्ण है साथ ही आयोग की निष्क्रियता पीड़ितों के साथ अन्याय है।”
रांची की तीसरी घटना का जिक्र करते हुए राफिया नाज़ ने कहा कि चुटिया थाना क्षेत्र में एक 17 वर्षीय नाबालिग को उसके ही घर से जबरन उठाया गया। उन्होंने बताया कि आरोपी पहले भी इसी प्रकार की घटना को अंजाम दे चुका है, इसके बावजूद पुलिस की निष्क्रियता यह दर्शाती है कि अपराधियों में कानून का कोई भय नहीं बचा है।
उन्होंने सवाल उठाया, “आख़िर यह कैसी सरकार है जहाँ एक ही अपराधी बार-बार बच्चियों को निशाना बना रहा है और वही सरकार मूक दर्शक बन मौन बैठी है?”
राफिया नाज़ ने सरकार से मांग की कि महिला अपराधों की सुनवाई के लिए फास्ट ट्रैक कोर्ट की व्यवस्था की जाए, राज्य महिला आयोग का गठन जल्द हो,डायन प्रथा उन्मूलन कानून को सख्ती से लागू किया जाए। उन्होंने कहा कि भाजपा इन मुद्दों को लेकर चुप नहीं बैठेगी और हर पीड़िता को न्याय दिलाने तक पीछे नहीं हटेगी। :झारखंड में हाल के दिनों में महिलाओं और नाबालिग बच्चियों पर अत्याचार की घटनाएं तेजी से बढ़ी हैं, जो प्रदेश की कानून-व्यवस्था और प्रशासनिक ढांचे पर गंभीर सवाल खड़े करती हैं। भाजपा प्रदेश प्रवक्ता राफिया नाज़ ने कहा कि एक ओर सरकार महिला सशक्तिकरण की बात करती है, वहीं दूसरी ओर राज्य की बहन-बेटियाँ भय, हिंसा और शोषण के माहौल में जीने को मजबूर हैं।
उन्होंने कहा कि झारखंड की ज़मीन इस वक्त चीख रही है और महिलाओं व बेटियों के खून और आंसुओं से भीग चुकी है, पर सरकार को कोई फर्क नहीं पड़ता। उन्होंने सरकार की कार्यशैली को जनविरोधी, असंवेदनशील और महिला विरोधी करार देते हुए तीखी आलोचना की।
राफिया नाज़ ने कहा कि हजारीबाग के बरही गांव में डायन प्रथा के नाम पर एक महिला को निर्वस्त्र कर, बर्बरतापूर्वक पीटा गया, शरीर को ब्लेड से काटा गया, उसके बाल काटे गए और उसे भीड़ के सामने अपमानित किया गया। उन्होंने कहा कि यह घटना इस बात का प्रमाण है कि झारखंड सरकार न तो डायन प्रथा उन्मूलन कानून को लागू करने में सक्षम है, और न ही समाज में अंधविश्वास के खिलाफ कोई जागरूकता फैलाई जा रही है।
उन्होंने जोर देकर कहा, “कानून होने के बावजूद अगर ऐसी अमानवीय घटनाएं हो रही हैं, तो यह सरकार की गंभीर प्रशासनिक असफलता है।”
कोलेबिरा की दूसरी घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए राफिया नाज़ ने कहा कि एक 13 वर्षीय नाबालिग बच्ची को अगवा कर दुष्कर्म किया गया और उसका अश्लील वीडियो बनाकर उसे धमकाया गया। उन्होंने कहा कि यह केवल एक अपराध नहीं, बल्कि एक नाबालिग की मानसिक और शारीरिक हत्या के बराबर है। उन्होंने कहा कि राज्य में डिजिटल अपराधों और महिला सुरक्षा के प्रति सरकार के पास कोई ठोस नीति नहीं है।
उन्होंने कहा, “इस घिनौने अपराध पर सरकार की चुप्पी दुर्भाग्यपूर्ण है साथ ही आयोग की निष्क्रियता पीड़ितों के साथ अन्याय है।”
रांची की तीसरी घटना का जिक्र करते हुए राफिया नाज़ ने कहा कि चुटिया थाना क्षेत्र में एक 17 वर्षीय नाबालिग को उसके ही घर से जबरन उठाया गया। उन्होंने बताया कि आरोपी पहले भी इसी प्रकार की घटना को अंजाम दे चुका है, इसके बावजूद पुलिस की निष्क्रियता यह दर्शाती है कि अपराधियों में कानून का कोई भय नहीं बचा है।
उन्होंने सवाल उठाया, “आख़िर यह कैसी सरकार है जहाँ एक ही अपराधी बार-बार बच्चियों को निशाना बना रहा है और वही सरकार मूक दर्शक बन मौन बैठी है?”
राफिया नाज़ ने सरकार से मांग की कि महिला अपराधों की सुनवाई के लिए फास्ट ट्रैक कोर्ट की व्यवस्था की जाए, राज्य महिला आयोग का गठन जल्द हो,डायन प्रथा उन्मूलन कानून को सख्ती से लागू किया जाए। उन्होंने कहा कि भाजपा इन मुद्दों को लेकर चुप नहीं बैठेगी और हर पीड़िता को न्याय दिलाने तक पीछे नहीं हटेगी।
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